हॉलीवुड में शुरुआती संघर्ष

प्रियंका चोपड़ा ने कहा कि जब उन्होंने हॉलीवुड में अपने करियर की शुरुआत की, तो वे अकेली और अलग-थलग महसूस करती थीं। उस समय उन्हें नए माहौल और नई संस्कृति के साथ तालमेल बिठाना मुश्किल हो रहा था। कैवनाग जेम्स के पॉडकास्ट ‘रीज द रूम’ में एक्ट्रेस ने कहा, “ये एक डार्क फेज था। मैं एक नई जगह पर थी, जहां कोई मेरा दोस्त नहीं था।”

अकेली और डरी हुई थीं प्रियंका

प्रियंका ने बताया कि उस समय उन्होंने मानसिक और भावनात्मक रूप से बहुत कठिनाइयों का सामना किया। उन्होंने कहा, “मैं एक अंजान इंडस्ट्री में थी, ऐसे लोगों के बीच थी, जिन्हें मैं जानती नहीं थी और ऐसे दोस्त नहीं थे जिन्हें मैं सुबह के 2 बजे कॉल कर सकूं। इस तरह का सपोर्ट जरूरी होता है। मैं बहुत अकेली और डरी हुई थी। न्यूयॉर्क जैसे शहर में रहना अपने आप में मुश्किल चीज है, इसने मेरी जिंदगी के उस दौर को और डार्क बना दिया था।”

रिजेक्शन से खुद को निकाला बाहर

प्रियंका चोपड़ा ने ये भी बताया कि उन्होंने हॉलीवुड में काफी रिजेक्शन झेला था, लेकिन इससे उन्हें विनम्र बनने में मदद मिली। एक्ट्रेस ने कहा, ये आपको हंबल बनाता है। मैंने तय किया कि मैं रिजेक्शन से खुद को उदास नहीं होने दूंगी या फिर इसे बंद दरवाजे की तरह नहीं देखूंगी। बल्कि मैं एक नया रास्ता बनाया, अपना सर नीचे किया और काम किया। मैं अपने साथ बॉलीवुड में लीड हीरोइन होने का घमंड लेकर नहीं चल रही थी। इस सोच ने मुझे उस मुकाम पर पहुंचने में मदद की जहां आज मैं हूं।